दुनिया का वो देश, जहां कोई दुखी नजर नहीं आता

एक्सपर्ट ने बताया इस देश का राज, सबके काम की है चीज

फिनलैंड दुनिया का सबसे खुशहाल देश कैसे बना? और क्यों यहां के लोग कभी निराश नजर नहीं आते, फिनिश मनोविज्ञान फैंक मार्टेला ने इसके बारे में बताया है। उन्होंने कहा-यह कहना अधिक सटीक होगा कि फिनलैंड वह देश है, जहां दुनिया में सबसे कम दुखी लोग रहते हैं।
एक रिपोर्ट के मुताबिक, मार्टेला ने कहा-इसके पीछे तीन अहम वजह है, जिसका यहां के लोग रोजमर्रा की जिंदगी में पालन करते हैं। किसी भी देश के लोग इन नियमों का पालन करने लगें तो उसे खुशहाल बनने में ज्यादा वक्त नहीं लगेगा। साथ ही, एकजुटता की भावना पैदा होगी, जिसे बुरे हालात से लडऩे की ताकत मिलेगी। सबसे पहला नियम, समुदाय के लिए जीने की भावना। मार्टेला ने कहा, फिनलैंड के लोग आसपास के लोगों की परवाह करते हैं। उनके चेहरे पर खुशी नजर आए, ऐसा कोई काम करने की कोशिश करते रहते हैं। उन्हें हंसाने का प्रयास करते हैं। उनकी मदद करते हैं। संकट की स्थितियों में अगर आप कि सी की मदद करते हैं तो वो आपके लिए हमेशा ऋ णी रहेगा। फिनलैंड पर हुई कई रिसर्च में इसकी पुष्टि हुई है कि अगर आप परिवार, दोस्तों और पड़ोसियों के साथ समय बिताते हैं, तो आपका जीवन भी काफी सुखमय हो सकता है। क्योंकि आप अपनी परेशानियों को उनके साथ शेयर कर सकते हैं। उनकी खुशियां बांट सकते हैं। जिससे आपके चेहरे पर भी मुस्कान आएगी। चिंता, डिप्रेशन खत्म हो जाएगा। यहां के लोग उन चीजों की एक सूची बनाते हैं, जो उन्हें खुशी देती हैं। और ये लोग वही काम करने को प्राथमिकता देते हैं। वर्षों पुराना ये पैटर्न चला आ रहा है। इसमें अन्य लोगों के लिए अच्छे कार्य करना प्राथमिकता है। दूसरा, यहां के सरकारी संस्थान हमेशा मदद के लिए तैयार रहते हैं। वे कभी दुखी नहीं रखते। हर पल आपकी समस्याओं के समाधान की कोशिश करते हैं।
मार्टेला ने तीसरी चीज के बारे में बताया, जो सबके लिए जरूरी है। आपका देश कैसे चल रहा है, इसका आपकी खुशी पर बहुत बड़ा प्रभाव पड़ता है। देश में अगर अराजकता आ अशांति है तो आपके चेहरे पर निराशा के भाव आएंगे। चाहे अराजकता सामाजिक हो या फिर राजनीतिक, या आर्थिक। इसलिए देश में शांति बनी रहनी चाहिए। यह भी खुशी का पैमाना है। फिनलैंड में सरकारी हेल्थकेयर सिस्टम है। पब्लिक ट्रांसपोर्ट काफी विश्वसनीय और सस्ता है। यहां ज्यादा कमाने वालों और कम कमाने वालों के बीच बहुत अंतर नहीं है। लोगों को फैसले लेने की आजादी है और सबसे कम भ्रष्टाचार है। यही यहां के लोगों के चेहरे पर खुशियां बिखेरती रहती है।

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