एक्शन में आई ममता सरकार शाहजहां गिरफ्तार

  • टीएमसी व भाजपा में वार-पलटवार
  • बीजेपी बोली- सीएम कर रहीं थीं बचाने का प्रयास
  • तृणमूल ने कहा- राजनीति कर रहा विपक्ष
  • उच्च न्यायालय ने कहा था कोई कर सकता है गिरफ्तार

4पीएम न्यूज़ नेटवर्क
कोलकता। पश्चिम बंगाल की सीएम ममता बनर्जी ने सख्त कार्रवाई करते हुए संदेशखालि में महिलाओं के यौन उत्पीडऩ और जमीन हड़पने के आरोपी तृणमूल कांग्रेस के नेता शाहजहां शेख को बृहस्पतिवार सुबह गिरफ्तार करवा दिया। पुलिस ने यह जानकारी दी। इस गिरफ्तारी के बाद सियासत भी गरमा गई है। बीजेपी जहां इस गिरफ्तारी में अपनी पीठ थपथपा रही है वहीं टीएमसी कह रही राज्य में कानून तोडऩे का अधिकार किसी को नहीं मिलेगा।
ज्ञात हो कि प्रवर्तन निदेशालय के अधिकारियों पर भीड़ के हमले के बाद से ही शाहजहां शेख फरार था और पुलिस को 50 दिन से भी अधिक वक्त से उसकी तलाश थी। पुलिस ने बताया कि शेख को उत्तर 24 परगना जिले के मिनाखा में एक घर से गिरफ्तार किया गया। गिरफ्तार करने के बाद उसे बशीरहाट अदालत ले जाया गया। पुलिस के एक अधिकारी नेबताया कि वह फिलहाल हवालात में है और उसे दिन में अदालत में पेश किया जाएगा। शेख की गिरफ्तारी की मांग को लेकर संदेशखालि के लोग लंबे समय से विरोध प्रदर्शन कर रहे थे। यह गिरफ्तारी कलकत्ता उच्च न्यायालय द्वारा तृणमूल नेता के खिलाफ कार्रवाई में देरी के लिए राज्य पुलिस की खिंचाई करने और यह कहने के तीन दिन बाद हुई है कि उन्हें गिरफ्तार किया जाना चाहिए। कलकत्ता उच्च न्यायालय ने बुधवार को कहा कि केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) और प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) तृणमूल कांग्रेस (टीएमसी) के कद्दावर नेता शेख शाहजहां को गिरफ्तार कर सकते हैं, जो 5 जनवरी से फरार हैं। काफी समय तक उस व्यक्ति को पकड़ा नहीं जा सका।

हमारी सरकार राजधर्म का पालन करती है : शांतनु

टीएमसी सांसद शांतनु सेन ने शाहजहां शेख की गिरफ्तारी पर कहा, कि यह गिरफ्तारी साबित करती है कि हमारी सरकार प्रशासनिक तरीके से राजधर्म का पालन करती है। हमने पार्थ चटर्जी और ज्योतिप्रिय मल्लिक के खिलाफ भी कार्रवाई की थी और इसी तरह हमने शेख के खिलाफ भी कार्रवाई की है। इस मामले में शिबू हाजरा और उत्तम सरदार को पहले ही गिरफ्तार कर लिया गया है। अभिषेक बनर्जी ने कहा था कि कोर्ट के स्टे ऑर्डर के कारण पुलिस शाहजहां शेख को गिरफ्तार नहीं कर पा रही थी। स्टे ऑर्डर आदेश हटने के 3-4 दिन के अंदर ही शेख को गिरफ्तार कर लिया गया है।

बीजपी के आंदोलन से दबाव में आई सरकार : सुकांत

पश्चिम बंगाल बीजेपी अध्यक्ष सुकांत मजूमदार ने शाहजहां शेख की गिरफ्तारी पर कहा, बीजेपी के लगातार आंदोलन के कारण यह सरकार शेख शाहजहां को गिरफ्तार करने के लिए मजबूर हुई। सरकार इनकार की मुद्रा में थी। वे कुछ भी स्वीकार नहीं कर रहे थे। मैंने पहले ही कहा था कि हम सरकार को शाहजहां शेख को गिरफ्तार करने के लिए मजबूर कर देंगे। आज भाजपा और संदेशखाली की महिलाओं के आंदोलन के कारण ममता बनर्जी सरकार शाहजहां शेख को गिरफ्तार करने के लिए मजबूर हुई हैं।

पांच सितारा सुविधाएं दी जाएंगी : सुवेंदु अधिकारी

पश्चिम बंगाल के नेता प्रतिपक्ष सुवेंदु अधिकारी ने गुरुवार (29 फरवरी) को दावा किया कि तृणमूल कांग्रेस (टीएमसी) नेता शेख शाहजहां एक सौदे के तहत ममता पुलिस की सुरक्षित हिरासत में हैं। उन्होंने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स (पूर्व में ट्विटर) पर एक पोस्ट में आरोप लगाया कि शाहजहां को जेल में रहते हुए पांच सितारा सुविधाएं दी जाएंगी। बीजेपी नेता ने कहा, संदेशखाली का बदमाश शेख शाहजहां कल रात 12 बजे से ही ममता पुलिस की सुरक्षित हिरासत में है।

10 दिन की पुलिस रिमांड पर भेजा गया शाहजहां शेख

जनवरी के महीने में प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) पर हमले के आरोपी शाहजहां शेख को पश्चिम बंगाल पुलिस ने गिरफ्तार करके गुरुवार (29 फरवरी) को बशीरहाट कोर्ट में पेश किया। कोर्ट ने शाहजहां शेख को 10 दिन की पुलिस रिमांड पर भेज दिया है. इस दौरान पुलिस ने कोर्ट से 14 दिन की रिमांड मांगी थी।

सीबीआई के समन पर दिल्ली नहीं जाएंगे सपा प्रमुख

  • पीडीए की बैठक में शामिल होंगे पूर्व सीएम : राजेंद्र चौधरी

4पीएम न्यूज़ नेटवर्क
लखनऊ। समाजवादी पार्टी (सपा) प्रवक्ता ने बृहस्पतिवार को कहा कि अवैध खनन मामले में केंद्रीय अन्वेषण ब्यूरो (सीबीआई) द्वारा गवाही के लिए भेजे गए समन पर पार्टी प्रमुख अखिलेश यादव आज दिल्ली नहीं जाएंगे। पार्टी प्रवक्ता राजेंद्र चौधरी ने कहा, वह (अखिलेश यादव) कहीं नहीं जा रहे हैं। वह लखनऊ में एक बैठक में भाग लेंगे। यादव को सीबीआई द्वारा जारी नोटिस पर उन्होंने कहा, मुझे इस संबंध में विस्तृत जानकारी नहीं है, लेकिन यह तय है कि वह आज दिल्ली नहीं जा रहे हैं।
सपा सूत्रों के मुताबिक यादव का यहां पार्टी कार्यालय में पीडीए (पिछड़े, दलित और अल्पसंख्यक वर्ग) की बैठक में शामिल होने का कार्यक्रम है और अब तक उनकी कहीं भी जाने की कोई योजना नहीं है। समाजवादी पार्टी पिछड़ा वर्ग के प्रदेश अध्यक्ष राजपाल कश्यप ने कहा, अखिलेश जी आज पार्टी कार्यालय में पीडीए की बैठक में शामिल होंगे। सीबीआई ने पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव को ‘ई-टेंडरिंगÓ प्रक्रिया के कथित उल्लंघन के जरिए खनन पट्टी जारी करने से जुड़े एक मामले में आज तलब किया है। यादव पर आरोप है कि जब वह सीएम थे तो उनके कार्यकाल में अधिकारियों ने 2012-16 के दौरान अवैध खनन की अनुमति दी थी और खनन पर ग्रीन ट्रिब्यूनल द्वारा प्रतिबंध के बावजूद अवैध रूप से लाइसेंस नवीनीकृत किए गए। सीआरपीसी की धारा 160 के तहत जारी नोटिस में सीबीआई ने यादव को 29 फरवरी को उसके सामने पेश होने को कहा है।

चुनाव करीब आ रहा है तो मुझे फिर से नोटिस मिल रहा : अखिलेश

अखिलेश यादव ने इस मामले को लेकर भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) पर निशाना साधा था और सीबीआई के कदम को आगामी लोकसभा चुनावों से जोड़ा था। यादव ने एक कार्यक्रम में कहा, सपा सबसे ज्यादा निशाने (भाजपा के) पर है। 2019 में मुझे किसी मामले में नोटिस मिला था क्योंकि उस समय लोकसभा चुनाव थे। अब जब चुनाव करीब आ रहा है तो मुझे फिर से नोटिस मिल रहा है।

हिमाचल: कांग्रेस के 6 बागी विधायकों पर गिरी गाज

  • रास चुनाव में बीजेपी को वोट देने पर दिया गया अयोग्य करार
  • दल-बदल कानून के तहत हुई कार्रवाई

4पीएम न्यूज़ नेटवर्क
नई दिल्ली। हिमाचल प्रदेश विधानसभा के अध्यक्ष ने कांग्रेस के छह बागी विधायकों को अयोग्य करार दे दिया है। विधानसभा अध्यक्ष के इस फैसले के बाद से इन विधायकों की सदस्यता भी रद्द कर दी गई है। इन छह कांग्रेसी विधायकों के खिलाफ यह फैसला पार्टी द्वारा जारी किए गए व्हिप को ना मानने की वजह से लिया गया है।
सूत्रों के अनुसार इन सभी विधायकों दल-बदल कानून के तहत अयोग्य घोषित किया गया है। जिन विधायकों को अयोग्य घोषित किया गया है उनमें सुधीर शर्मा, राजेंद्र राणा, देवेंद्र भुट्टो, इंद्र लखन पाल, रवि ठाकुर और चैतन्य शर्मा शामिल हैं।

व्हिप का उल्लंघन करने पर हुई कार्यवाही : विस अध्यक्ष

विधानसभा अध्यक्ष कुलदीप सिंह पठानिया ने छह विधायकों को अयोग्य घोषित करने के अपने फैसले के बाद कहा कि कल सदन में वित्त विधेयक पर सरकार के पक्ष में मतदान करने के लिए पार्टी ने व्हिप जारी किया। लेकिन इन विधायकों ने पार्टी के व्हिप का उल्लंघन किया। इसी वजह से इन छह विधायकों को अयोग्य घोषित कर दिया गया है। खास बात ये है कि विधानसभा अध्यक्ष द्वारा 15 भाजपा विधायकों को निलंबित करने के बाद विधानसभा ने राज्य का बजट पारित कर दिया।

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