राजधानी की हरियाली में इजाफा करने की तैयारी, रोपे पौधों को बचाने की कवायद

वृक्षारोपण अभियान के तहत विभिन्न प्रजाति के रोपे गए 27 लाख पौधे
फलदार, औषधीय और छायादार पेड़ों के रोपण पर रहा फोकस

4पीएम न्यूज़ नेटवर्क
लखनऊ। अगर सबकुछ ठीक रहा तो प्रदेश की राजधानी लखनऊ में चारों ओर हरियाली दिखेगी। पिछले सप्ताह राजधानी में 27 लाख पौधे रोपे गए हैं और इनको बचाने की कवायद की जा रही है। वन विभाग हरियाली को बढ़ाने के लिए इन पेड़ों को बचाने में जुटा हुआ है।
लखनऊ की धरती पर रोपे गए 27 लाख पौधे में से अगर 70 प्रतिशत भी जीवित बच गए तो हमारी धरा हरियाली का संदेश देगी। इसमें करीब बारह लाख पौधे तो ऐसे हैं, जो एक बार ऊंचाई पकड़ लिए तो आने वाली पीढ़ी को ऑक्सीजन देने का काम करेंगे। इसमें पीपल, नीम, बरगद, कदम्ब, अशोक, आम भी शामिल है। पारिजात के 60 पेड़ भी अपनी छाया से हर किसी को राहत देंगे तो बरगद के 4288 पेड़ अगर जीवित रह गए तो इनकी जटाएं दूर तक ठंड पहुंचाने का काम करेंगी। इंसानों के साथ ही बंदरों के भोजन का इंतजाम भी यह पेड़ करेंगे। अमरूद्ध के 250163 और आम के 4025 पेड़ भी बंदरों का ठिकाना बन सकेंगे।
इसके अलावा लखनऊ में अर्जुन, अशोक, इमली, आंवला, कचनार, कटहल, कैथा, कदम्ब, कनक चंपा, गुटेल, गूलर, गोल्ड मोहर, जामुन, पुत्र जीवा, बबूल, बेर, बरगद, बेल, बहेड़ा, बाटलब्रश, महुआ, मौलश्री, शरीफा, शहतूत, शीशम, सेमल सहजन, सागौन, अनार और अमलताश के हजारों पेड़ लगाए गए हैं।

क्या कहते हैं डीएफओ

डीएफओ डा.आरके सिंह के मुताबिक, वैसे तो 27 लाख पौधों का रोपण लखनऊ में किया गया है, इसमें पीपल, नीम, बरगद, कदम्ब, अशोक, आम, पाकड़ समेत बड़ी प्रजाति के करीब बारह लाख पौधे लगाए गए हैं। कोशिश हो रही है कि सभी पौधों को जीवित बचा लिया जाए। इनको एक साल तक नर्सरी में तैयार किया गया है।

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