पूरा होने को है सीएम योगी का सपना दुल्हन की तरह सज रही है अयोध्या

  • खुद मुख्यमंत्री संभाल रहे कमान, पीएम मोदी करेंगे राम मंदिर निर्माण के लिए भूमि पूजन
  • सवा लाख दीपकों से आलोकित होगी रामजन्मभूमि, अयोध्या समेत पूरे देश में होगा दीपोत्सव
  • पांच अगस्त को शुभ मुहूर्त में देश भर के मंदिरों और घरों में एक साथ होगी पूजा-अर्चना
  • त्रेतायुगीन दृश्यों से सजायी जा रही अयोध्या, बनाए जा रहे भव्य प्रवेश द्वार, रंगोली से भरा जा रहा उत्सव का रंग

4पीएम न्यूज़ नेटवर्क
लखनऊ। अयोध्या में श्रीराम जन्मभूमि पर भव्य मंदिर के निर्माण का मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ का सपना पूरा होने जा रहा है। राम मंदिर के भूमि पूजन का दिन तय होने के साथ अयोध्या में जोर-शोर से तैयारियां की जा रही हैं। रामनगरी को दुल्हन की तरह सजाया जा रहा है। भूमि पूजन के दिन यानी पांच अगस्त को संपूर्ण अयोध्या राममय नजर आएगी। जहां संपूर्ण रामनगरी को त्रेतायुगीन दृश्यों से सजाया जा रहा है, वहीं अयोध्या में दीपोत्सव मनाने की पूरी तैयारी चल रही है। इस दिन ठीक उसी प्रकार दीपोत्सव मनाया जाएगा जैसा त्रेतायुग में भगवान राम के लौटने की खुशी में अयोध्यावासियों ने मनाया था। खुद मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ पूरी तैयारियों पर नजर रख रहे हैं और उन्होंने इस दिन लोगों से दीपोत्सव मनाने की अपील की है।
पांच अगस्त को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी राम मंदिर निर्माण के लिए भूमि पूजन करेंगे। भूमि पूजन के बाद प्रधानमंत्री मोदी चांदी की ईंट से मंदिर निर्माण के लिए शिलान्यास करेंगे। यह ईंट करीब 22.6 किलोग्राम वजन की है। इस मौके पर देशभर के मंदिरों में शुभ मुहूर्त पर एक साथ पूजा होगी। वहीं रामनगरी के मठ-मंदिर से लेकर घर-घर दीप जलेंगे। रामजन्मभूमि परिसर को सवा लाख दीपकों से आलोकित करने की तैयारी है। अयोध्या के 25 प्रमुख स्थलों पर दीपक जलाए जाएंगे। रामनगरी को इस तरह सजाया जा रहा ताकि अयोध्या में त्रेता युग का अहसास हो।

  • २२.६ किलोग्राम की चांदी की ईंट से प्रधानमंत्री मंदिर निर्माण का करेंगे शिलान्यास

एलईडी से होगा पीएम के कार्यक्रम का प्रसारण

आगामी पांच अगस्त को प्रधानमंत्री के कार्यक्रम का 20 स्थानों पर एलईडी से लाइव प्रसारण होगा। इसकी जिम्मेदारी उप निदेशक सूचना मुरलीधर सिंह को दी गई है। 20 स्थानों पर सांस्कृतिक कार्यक्रम की व्यवस्था की जाएगी। इसका दायित्व अयोध्या शोध संस्थान के निदेशक डॉ. वाईपी सिंह को सौंपा गया है।

नागर शैली में सबसे अलौकिक होगा श्रीरामजन्मभूमि मंदिर

84 हजार 600 वर्गफुट का विशाल श्रीराम जन्मभूमि मंदिर अब तक बने नागर शैली के मंदिरों में सबसे अलौकिक होगा। एक शिखर और पांच विशाल मंडपों के गुंबद से सुशोभित तीन तल का यह दिव्य मंदिर विश्वभर में अनूठा होगा। शिखर से लेकर अधिष्ठान तक 17 हिस्सों की डिजाइन के साथ हर एक हिस्से के आकार के पिंक स्टोन की माप और लागत तय हो गई है। मुख्य शिल्पी चंद्रकांत सोमपुरा के पुत्र इंजीनियर निखिल सोमपुरा ने कहा कि जल्द ही प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी डिजाइन समेत डिजिटल प्रस्तुति देखेंगे, इसके बाद ही सारा ब्योरा सार्वजनिक किया जाएगा।

नवरत्न जडि़त वस्त्र में नजर आएंगे रामलला

भूमिपूजन के दिन रामलला को हरे या भगवा रंग के नवरत्न जडि़त वस्त्रों को पहनाया जा सकता है। राम जन्मभूमि के पुजारी सत्येंद्र दास ने बताया कि रामलला को हर दिन अलग-अलग रंग के कपड़े पहनाए जाते हैं। 5 अगस्त को रामलला को शुभ मुहुर्त के मुताबिक हरे रंग के वस्त्र पहनाए जाते हैं लेकिन भगवा रंग के वस्त्र भी बनाये जा रहे हैं। हालांकि उस दिन किस रंग का वस्त्र रामलला को पहनाया जाएगा, इस पर विचार बाद में किया जाएगा। भगवान राम के अलावा तीनों भाई लक्ष्मण, भरत और शत्रुघ्न व हनुमान को भी नई पोशाक पहनाई जाएगी।

जुड़ेंगे लाखों विदेशी भक्त
राम मंदिर के भूमि पूजन के लाइव प्रसारण से लाखों विदेशी भक्तों के जुडऩे का अनुमान है। अकेले आचार्य लक्ष्मण शास्त्री के संयोजन में हजारों विदेशी भक्तों को जोडऩे की तैयारी चल रही है। वे लाइव प्रसारण के साथ आस्ट्रेलिया, न्यूजीलैंड, मॉरीशस, कनाडा, यूके, फिजी, दक्षिण अफ्रीका आदि देशों के भक्तों से संवाद भी स्थापित करेंगे। आचार्य लक्ष्मण बताते हैं कि यूरोप, अमेरिका, दक्षिण अफ्रीका में ऐसे विदेशी मिल जाते हैं, जिनकी भगवान राम और भारतीय संस्कृति में आस्था बढ़ी है।

तीन हजार स्थानों की मिट्टी और जल पहुंचा अयोध्या
राम मंदिर निर्माण की नींव में देश के कोने-कोने की मिट्टी व जल का इस्तेमाल किया जाएगा। मध्यप्रदेश, बिहार व झारखंड सहित कई राज्यों के तकरीबन तीन हजार स्थानों की मिट्टी और पवित्र नदियों और कुंडों का जल भूमिपूजन के लिए श्री रामजन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट के रामकचहरी मंदिर स्थित कार्यालय में पहुंच चुका है। कुछ लोग हजारों किलोमीटर वाहन चलाकर मिट्टी और जल लेकर यहां पहुंचे हैं। यह सिलसिला जारी है।

लोगों ने शुरू कर दिया उत्सव मनाना
भूमि पूजन के पहले ही यहां उत्सव की शुरुआत हो चुकी है। बीकानेर के रहने वाले श्यामसुंदर सोनी ने सरयू तट पर 21000 दीप प्रज्वलित कर भगवान के भूमि पूजन के उत्सव की शुरुआत कर दी। सरयू आरती से पहले सरयू के घाटों पर 21000 दीपों को प्रज्वलित किया गया। इस दौरान दीपों से भगवान राम के नाम की आकृतियां उकेरी गईं। अयोध्यावासी भी उत्सव की तैयारियों में जुट गए हैं।

लखनऊ की माटी भी भेजी जाएगी रामनगरी
भूमि पूजन के लिए भगवान राम के छोटे भाई लक्ष्मण द्वारा बसाई गई लक्ष्मणपुरी यानी लखनऊ की माटी भी राम नगरी भेजी जाएगी। वहीं गोस्वामी तुलसीदास द्वारा स्थापित ऐशबाग रामलीला मैदान से मिट्टी को अयोध्या भेजने की तैयारी की जा रही है। अयोध्या शोध संस्थान के माध्यम से मिट्टी को 5 अगस्त को भेजा जाएगा। इसके अलावा नैमिषारण्य की मिट्टी और जल को भी राम मंदिर निर्माण के लिए अयोध्या ले जाया जाएगा। भूमि पूजन में उज्जैन के महाकाल मंदिर की भस्म आरती की भस्म का भी उपयोग किया जाएगा। भस्म को अयोध्या भेज दिया गया है।

साकार होगा रामकथा कुंज का सपना
मर्यादा पुरुषोत्तम श्रीराम के भव्य मंदिर के साथ ही रामकथा कुंज का सपना साकार होगा। इसके तहत 125 से ज्यादा प्रतिमाएं निर्मित होनी हैं। इन मूर्तियों को इस तरह बनाया जा रहा है कि यह भगवान राम के बाल्यकाल से लेकर सरयू में गुप्त होने तक के सभी प्रमुख प्रसंगों को जीवंत कर सकें। प्रत्येक प्रसंग में औसतन छह मूर्तियां और प्रसंग के अनुरूप छवियों का अंकन होना है। अब तक पुत्रयेष्टि यज्ञ से लेकर रामजन्म, बाललीला, वशिष्ठ के आश्रम में विद्या अध्ययन, विश्वामित्र के यज्ञ की रक्षा, ताडक़ा, सुबाहु वध, सीता जन्म, अहिल्या उद्धार, सीता स्वयंवर, वनवास के प्रसंगों को आकार दिया जा चुका है।

सुरक्षा घेरा बनाने में जुटी पुलिस

लखनऊ। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के अयोध्या आने से पहले उत्तर प्रदेश पुलिस अचूक सुरक्षा घेरा बनाने में जुटी है। इस कड़ी में अयोध्या के आसपास के जिलों में भी ऐसी व्यवस्था की जाएगी कि कहीं से भी परिंदा पर न मार सके। सुरक्षा का अभेद्य किला बनाने के लिए अनुभव को वरीयता दी जा रही है। डीजीपी हितेश चंद्र अवस्थी ने अयोध्या के आसपास के नौ जिलों में एडीजी से डीआईजी स्तर के अधिकारियों की जिम्मेदारी तय कर दी है। सभी अधिकारी छह अगस्त तक अपने-अपने जिलों में डेरा जमाकर सुरक्षा गतिविधियों की कमान संभालेंगे।

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