यूपी से शुरुआत कर देश में बड़ा बदलाव ला रही है कांग्रेस : राहुल गांधी

  • खत्म होने को है नफरत की राजनीति

नई दिल्ली। कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने कहा कि उनकी पार्टी उत्तर प्रदेश से देश में एक बड़ा बदलाव ला रही है। जहां उसने उन लोगों को टिकट दिया है, जिन्होंने सत्तारूढ़ के हाथों अन्याय सहा है। उन्होंने कहा कि कांग्रेस लोगों के साथ साझेदारी में विश्वास करती है और सेवा के नाटक में शामिल नहीं होती है। कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष ने फेसबुक पोस्ट के माध्यम से कहा कि हम देश में एक बड़ा बदलाव ला रहे हैं और इसकी शुरुआत उत्तर प्रदेश से की गई है। राहुल ने कहा कि हम शोषण के खिलाफ लड़ेंगे और उन्हें न्याय दिलाने में लोगों की आवाज बनकर जीतेंगे। उन्होंने कहा कि हम जन सेवा का नाटक नहीं करते हैं, हम साझेदारी बनाते हैं।

नफरत की राजनीति खत्म हो रही है और कांग्रेस सत्ता में आ रही है। गांधी ने कहा कि कांग्रेस ने आगामी उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनावों के लिए अब तक 125 उम्मीदवारों में से 50 महिलाओं को मैदान में उतारने के अपने वादे का सम्मान किया है। खास बात यह है कि उम्मीदवारों की इस सूची में वे लोग भी शामिल हैं, जिन्होंने भाजपा के हाथों अन्याय सहा है। कांग्रेस अध्यक्ष ने कहा कि उन्नाव दुष्कर्म पीड़िता की मां, भाजपा शासन में आशा कार्यकर्ताओं के शोषण के खिलाफ आवाज उठाने वाली महिला और राज्य में निषाद समुदाय पर हो रहे अत्याचारों के खिलाफ वर्षों तक संघर्ष करने वाली महिला को पार्टी द्वारा चुनावी टिकट दिया गया है।

उन्होंने कहा उत्तर प्रदेश में कांग्रेस उम्मीदवारों की सूची में एक महिला का नाम भी शामिल है, जिसने नागरिकता (संशोधन) अधिनियम (सीएए) के खिलाफ विरोध प्रदर्शन किया। जिसके माध्यम से भाजपा देश की एकता को नुकसान पहुंचाना चाहती है। गांधी ने कहा कि ऐसी कई महिलाएं हैं जिन्हें पार्टी ने उत्तर प्रदेश में अपनी परिवर्तन की राजनीति के हिस्से के रूप में मैदान में उतारा है। बता दें कि उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव सात चरणों में 10 फरवरी से 7 मार्च तक होंगे और मतों की गिनती 10 मार्च को होगी।

विजय सिंह मीणा कानपुर के नए पुलिस कमिश्नर

लखनऊ। विजिलेंस में एडीजी और 1996 बैच के आईपीएस विजय सिंह मीणा कानपुर नगर के नए पुलिस आयुक्त होंगे। चुनाव आयोग से हरी झंडी के बाद देर रात शासन ने इस संबंध में आदेश जारी कर दिए। विजय सिंह मीणा इससे पहले लंबे समय तक वाराणसी रेंज के आईजी रह चुके हैं। पिछले वर्ष एडीजी के बैंक में प्रमोशन के बाद उन्हें वाराणसी से हटाकर विजिलेंस में एडीजी बना दिया गया था। बता दें कि आठ जनवरी को कानपुर के मौजूदा पुलिस आयुक्त असीम अरुण ने अचानक वीआरएस लेकर राजनीति में जाने का फैसला कर लिया था। प्रदेश सरकार ने उनका वीआरएस 15 जनवरी से स्वीकार कर लिया था।

पुलिस आयुक्त कानपुर के लिए चुनाव आयोग को एडीजी राय के तीन अफसरों के पैनल भेजा गया था, जिसमें विजय सिंह मीणा के अलावा विजिलेंस में ही तैनात एडीजी एन रविंदर और भर्ती बोर्ड में तैनात आरके स्वर्णकार का नाम भी शामिल था। आयोग ने विजय सिंह मीना के नाम पर मोहर लगाई। इसके बाद शासन ने उन्हें पुलिस आयुक्त कानपुर नगर के पद पर तैनाती दे दी। उधर, असीम अरुण वीआरएस के लिए आवेदन करते ही लंबी छुट्ïटी पर चले गए थे। उन्होंने सोशल मीडिया के जरिए संदेश जारी कर भाजपा में जाने का संकेत दिया था।

पत्रकारिता जगत को बड़ा झटका, नहीं रहे एनडीटीवी के कमाल खान

 सीएम योगी, अखिलेश यादव, प्रियंका गांधी, मायावती सहित देशभर के पत्रकारों ने दी भावभीनी श्रद्घांजलि

लखनऊ। एनडीटीवी के लिए काम करने वाले उत्तर प्रदेश के वरिष्ठ पत्रकार कमाल खान का आज सुबह हार्ट अटैक से निधन हो गया है। कमाल खान ने आज सुबह लखनऊ स्थित अपने आवास में अंतिम सांस ली, उन्हें हार्ट अटैक आने के बाद अस्पताल ले जाया गया था, जहां डॉक्टरों ने उन्हें मृत घोषित कर दिया। कमाल खान लखनऊ में अपने परिवार के साथ बटलर पैलेस स्थित सरकारी बंगले में रहते थे। उनकी शादी पत्रकार रुचि कुमार के साथ हुई थी। समाजवादी पार्टी ने अपने आधिकारिक ट्विटर हैंडल से ट्वीट करते हुए कहा अत्यंत दुखद। शोकाकुल परिजनों के प्रति गहन संवेदना।

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ व पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने भी उन्हें भावभीनी श्रद्धांजलि दी है। उनके निधन पर दुख जताया है। मायावती व प्रियंका गांधी ने भी कमाल खान के निधन पर देश के लिए बड़ी क्षति बताया है। कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा ने ट्वीट कर कहा वरिष्ठ पत्रकार कमाल खान जी के निधन की खबर सुनकर स्तब्ध हूं। कुछ दिनों पहले ही उनसे मुलाकात के दौरान ढेर सारी बातें हुई थीं। उन्होंने पत्रकारिता में सच्चाई व जनहित जैसे मूल्यों को जिंदा रखा।

4पीएम के संपादक संजय शर्मा ने कहा भारत में मशहूर पत्रकार कमाल खान जी का निधन बेहद कष्टप्रद है। पत्रकारिता जगत के लिए बहुत क्षति है उनका ना रहना। देर रात तक वो दायित्वों का निर्वहन करते रहे। सबसे वरिष्ठ होने के बाद भी फील्ड रिपोर्टिंग कभी नहीं छोड़ी। पत्रकार रामदत्त त्रिपाठी, बृजेश मिश्रा, अजय शुक्ला सहित देशभर के पत्रकार कमाल खान के निधन से स्तब्ध है। सोशल मीडिया पर पत्रकारों के लिए यह खबर यकीन से परे है, लेकिन क्या ये वाकई सच है? कमाल खान सिर्फ नाम नहीं, बल्कि पत्रकारिता जगत की वाकई एक कमाल शख्सियत थे। हर पत्रकार उन्हें श्रद्घांजलि दे रहा है।

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